पीएम-यशस्वी : भारत सरकार के सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्रालय ने पीएम युवा उपलब्धि छात्रवृत्ति पुरस्कार योजना (पीएम-यशस्वी) लागू की है। इस योजना का उद्देश्य अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी), आर्थिक रूप से पिछड़े वर्ग (ईबीसी) और विमुक्त जनजातियों (डीएनटी) के छात्रों को उनके प्रारंभिक वर्षों के दौरान गुणवत्तापूर्ण शिक्षा तक पहुँच प्रदान करके उनका उत्थान करना है।
पीएम यशस्वी योजना कई पहले की पहलों को समेकित और संवर्धित करती है। इसमें ईबीसी के लिए डॉ. अंबेडकर पोस्ट-मैट्रिक छात्रवृत्ति योजना और डीएनटी के लिए डॉ. अंबेडकर प्री-मैट्रिक और पोस्ट-मैट्रिक छात्रवृत्ति योजना शामिल है। इन योजनाओं को एकीकृत करके पीएम यशस्वी का उद्देश्य सामाजिक और आर्थिक रूप से वंचित छात्रों की शैक्षिक आवश्यकताओं के लिए एक सुव्यवस्थित और प्रभावशाली दृष्टिकोण सुनिश्चित करना है।
पीएम यशस्वी छात्रवृत्ति योजना का उद्देश्य
इस योजना का लक्ष्य इन कमजोर समूहों के बीच शैक्षिक सशक्तीकरण को बढ़ावा देना है। जिससे उन्हें वित्तीय बाधाओं को दूर करने और अपनी शिक्षा पूरी करने में मदद मिल सके। यह पहल न केवल व्यक्तिगत शैक्षणिक विकास को बढ़ावा देती है बल्कि अधिक समावेशी और न्यायसंगत समाज बनाने के व्यापक दृष्टिकोण में भी योगदान देती है।
पीएम यशस्वी योजना में कब कौनसी सुविधाएं
योजना के अंतर्गत छात्र कक्षा 9 से 10 तक प्री-मैट्रिक छात्रवृत्ति और पोस्ट-मैट्रिकुलेशन या पोस्ट-सेकेंडरी स्तर पर अपने उच्च अध्ययन के लिए पोस्ट मैट्रिक छात्रवृत्ति का लाभ उठा सकते हैं। अपनी पढ़ाई में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले छात्रों को ‘टॉप क्लास स्कूल एजुकेशन’ और ‘टॉप क्लास कॉलेज एजुकेशन’ की योजना के अंतर्गत टॉप क्लास स्कूलों और कॉलेजों में पढ़ने के लिए छात्रवृत्ति मिलती है। ‘ओबीसी लड़के और लड़कियों के लिए छात्रावास निर्माण योजना’ के अंतर्गत ओबीसी छात्रों को छात्रावास की सुविधा भी प्रदान की जाती है।
पीएम-यशस्वी में शामिल यह उप योजनाएं
⊕ ओबीसी, ईबीसी और डीएनटी छात्रों के लिए प्री-मैट्रिक छात्रवृत्ति
⊕ ओबीसी, ईबीसी और डीएनटी छात्रों के लिए पोस्ट-मैट्रिक छात्रवृत्ति
⊕ ओबीसी, ईबीसी और डीएनटी छात्रों के लिए टॉप क्लास स्कूली शिक्षा
⊕ ओबीसी, ईबीसी और डीएनटी छात्रों के लिए टॉप क्लास कॉलेज शिक्षा
⊕ ओबीसी बालक और बालिकाओं के लिए छात्रावास का निर्माण
पीएम-यशस्वी छात्रवृत्ति योजना का दायरा
⇒ प्री-मैट्रिक छात्रवृत्ति सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले कक्षा नौवीं और दसवीं के छात्रों के लिए तैयार की गई है। यह ढाई लाख रुपये से कम आय वाले परिवारों को 4,000 रुपये का वार्षिक शैक्षणिक भत्ता प्रदान करती है। शैक्षणिक वर्ष 2023-24 में इसके क्रियान्वयन के लिए राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को 32 करोड़ 44 लाख करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं।
⇒ पोस्ट-मैट्रिक छात्रवृत्ति उच्चतर माध्यमिक शिक्षा प्राप्त करने वाले छात्रों की सहायता करती है। इसमें पाठ्यक्रम की श्रेणी के आधार पर 5,000 रुपये से लेकर 20,000 रुपये तक शैक्षणिक भत्ते प्रदान किए जाते हैं। इस योजना के लिए चालू वर्ष में 387 करोड़ 27 लाख रुपये जारी किए गए हैं।
⇒ इसके अतिरिक्त टॉप क्लास स्कूल और कॉलेज शिक्षा योजनाएं ओबीसी, ईबीसी और डीएनटी श्रेणियों के मेधावी छात्रों का सहयोग करने के लिए तैयार की गई हैं। ये कार्यक्रम ट्यूशन फीस, छात्रावास खर्च और अन्य शैक्षणिक लागतों को शामिल करते हैं।
⇒ स्कूली छात्र (कक्षा 9-12) सालाना सवा लाख रुपये तक के वित्त पोषण के लिए पात्र हैं। शीर्ष संस्थानों में कॉलेज के छात्रों को ट्यूशन, रहने का खर्च और शैक्षिक सामग्री सहित पूर्ण वित्तीय सहायता मिलती है। शिक्षा तक पहुंच को और बढ़ाने के लिए ‘ओबीसी बालक और बालिकाओं के लिए छात्रावासों का निर्माण’ योजना के तहत 2023-24 में 12.75 करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं।
⇒ इसका उद्देश्य सामाजिक और शैक्षिक रूप से पिछड़े छात्रों को सरकारी स्कूलों और संस्थानों के निकट आवास उपलब्ध कराना है। जिससे उन्हें गुणवत्तापूर्ण शिक्षा तक बेहतर पहुंच सुनिश्चित हो सके।
पीएम-यशस्वी योजना के तहत इतनी राशि आवंटित
वित्तीय वर्ष 2023-24 में प्री-मैट्रिक छात्रवृत्ति के लिए 193.83 करोड़ रुपये की पर्याप्त राशि आवंटित की गई। इससे 2023-24 के दौरान 19.86 लाख छात्रों को लाभ मिलेगा और 2023-24 के लिए और लाभार्थियों के आने की उम्मीद है। इसी तरह पोस्ट-मैट्रिक छात्रवृत्ति योजना के अंतर्गत 988.05 करोड़ जारी किए गए, जिससे 2023-24 में 27.97 लाख छात्रों को लाभ मिलेगा।
इसके अतिरिक्त सरकार ने अन्य शैक्षिक सहायता पहलों में भी निवेश किया है। 2023-24 में 1146 छात्रों को समायोजित करने वाले छात्रावासों के निर्माण के लिए 14.30 करोड़ रुपये जारी किए गए हैं। उच्च श्रेणी के शिक्षा कार्यक्रमों और विदेश में अध्ययन के ब्याज सब्सिडी में भी महत्वपूर्ण वित्त पोषण हुआ है, जो हजारों छात्रों तक पहुंचा है।
उदाहरण के लिए कॉलेज योजना में शीर्ष श्रेणी की शिक्षा में 4762 छात्रों का समर्थन करने के लिए 111.18 करोड़ रूपये आवंटित किए गए और ओबीसी, ईबीसी और डीएनटी छात्रों के लिए स्कूलों में शीर्ष श्रेणी की शिक्षा में 2602 छात्रों का समर्थन करने के लिए 6.55 करोड़ रूपये आवंटित किए गए।
पीएम-यशस्वी योजना के लिए ऐसे होता चयन
इस योजना के लिए यशस्वी प्रवेश परीक्षा 2023 उम्मीदवार चयन का आधार है, जो सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्रालय के निर्देशन में राष्ट्रीय परीक्षण एजेंसी द्वारा आयोजित की जाती है।
पीएम-यशस्वी योजना के लिए पात्रता
ओबीसी, ईबीसी और डीएनटी छात्रों के लिए खुला है, जिनकी कुल वार्षिक पारिवारिक आय ढाई लाख रुपये तक है। विशिष्ट छात्रवृत्ति योजना के आधार पर अतिरिक्त पात्रता मानदंड लागू हो सकते हैं।
पीएम-यशस्वी योजना के लिए कहाँ आवेदन करें
पात्र छात्र राष्ट्रीय छात्रवृत्ति पोर्टल: https://scholarships.gov.in/ पर ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं।
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