▪️ निखिल सोनी, आठनेर
जल जीवन मिशन के तहत गांव-गांव में योजनाओं का काम तो जोर-शोर से शुरू किए थे। लेकिन, अधिकांश जगह नल-जल योजनाओं के काम अधूरे पड़े हैं। यही कारण है कि ग्रामीण मटमैला और दूषित पानी पीने को मजबूर हैं। आठनेर ब्लॉक की ग्राम पंचायत पांढुर्णा के पातरा गांव में भी यही हाल है। उधर बैतूल बाजार में 2 और वार्डों में भी उल्टी-दस्त के मरीज मिले हैं। विष्णु वार्ड के 2 गंभीर मरीजों को जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
केंद्र सरकार द्वारा हर गांव में घर-घर तक शुद्ध पानी पहुंचाने के लिए जल जीवन मिशन के तहत कार्य करवा रही है। इस पर करोड़ों-अरबों रुपयों की राशि खर्च की जा रही है। इसके बावजूद ग्रामीणों को इसका लाभ नहीं मिल रहा है। ग्राम पातरा में भी योजना का काम आधा-अधूरा पड़ा है। ग्राम पंचायत के सरपंच सुखदेव माकोड़े बताते हैं कि पातरा गांव में पिछले एक साल से योजना का काम बंद पड़ा है।
ठेकेदार ने योजना का काम पूरा किया ही नहीं। इससे इस योजना का लाभ भी ग्रामवासियों को नहीं मिल पा रहा है। यही कारण है कि भरपूर बारिश के मौसम में यहां जल संकट जैसे हालात हैं। ग्रामीणों को कुएं का मटमैला पानी पीने को मजबूर होना पड़ रहा है। वैसे तो ग्रामीण इसी कुएं के भरोसे रहते हैं, लेकिन बारिश का पानी कुएं में जमा हो जाने के कारण यह पानी पीना खतरे से खाली नहीं है। देखें वीडियो…
ग्रामवासियों का कहना है कि कुएं का मटमैला पानी उन्हें मजबूरी में पीना पड़ रहा है। इससे बीमारियां फैलने का डर बना हुआ है। गांव में कभी भी बीमारी फैल सकती है। इसके बावजूद और कोई स्रोत नहीं होने के कारण यही पानी पी रहे हैं। उन्होंने योजना का काम जल्द पूरा कराए जाने की मांग की है। ताकि उन्हें यह दूषित पानी पीने को विवश न होना पड़े और स्वास्थ्य पर भी विपरीत असर न पड़े।
दो और गंभीर मरीज जिला अस्पताल में भर्ती
इधर जिला मुख्यालय के समीप बैतूल बाजार में पिछले 10 दिनों से उल्टी-दस्त का प्रकोप चल रहा है। यहां 2 और वार्डों में उल्टी दस्त के मरीज मिले हैं। अभी तक यहां मालवीय और भवानी वार्ड में ही मरीज मिले थे। अब विष्णु और सुभाष वार्ड में भी उल्टी दस्त के मरीज मिले हैं। बताते हैं कि इन वार्डों में बुधवार तक भी कुएं के पानी की ही सप्लाई की गई। इससे यहां भी उल्टी-दस्त का प्रकोप फैल गया। विष्णु वार्ड के 2 गंभीर भी जिला अस्पताल में भर्ती कराए गए हैं।