Edible Oil Price: केंद्रीय अप्रत्यक्ष कर और सीमा शुल्क बोर्ड (सीबीआईसी) ने अपनी एक अधिसूचना के अनुसार निर्दिष्ट खाद्य तेलों (specified edible oils) पर मौजूदा रियायती आयात शुल्क को 31 मार्च, 2023 तक बढ़ा दिया है। इस निर्णय का उद्देश्य घरेलू आपूर्ति बढ़ाना और कीमतों को नियंत्रण में रखना है।
अधिसूचना के मुताबिक खाद्य तेल आयात (edible oil import) पर रियायती सीमा शुल्क को और 6 महीने के लिए बढ़ाया गया है, जिसके परिणामस्वरूप अब नई समय सीमा अब मार्च 2023 होगी। खाद्य तेल की कीमतें (edible oil prices) वैश्विक कीमतों में गिरावट के कारण कम होते स्तर पर रही हैं। कम होती वैश्विक दरों और आयात शुल्क में कमी के साथ, भारत में खाद्य तेलों की खुदरा कीमतों में काफी गिरावट आई है।
कच्चे पाम तेल, आरबीडी पामोलिन, आरबीडी पाम तेल, कच्चे सोयाबीन तेल, परिष्कृत सोयाबीन तेल, कच्चे सूरजमुखी तेल और परिष्कृत सूरजमुखी तेल पर वर्तमान शुल्क व्यवस्था में 31 मार्च, 2023 तक कोई बदलाव नहीं होगा। पाम तेल, सोयाबीन तेल और सूरजमुखी तेल की कच्ची किस्मों पर आयात शुल्क फिलहाल शून्य है। हालांकि, 5 प्रतिशत कृषि और 10 प्रतिशत सामाजिक कल्याण उपकर को ध्यान में रखते हुए, इन तीन खाद्य तेलों की कच्ची किस्मों पर प्रभावी शुल्क 5.5 प्रतिशत तक पहुँच जाता है।
पामोलिन और रिफाइंड पाम तेल (Palmolein and Refined Palm Oil) की परिष्कृत किस्मों पर मूल सीमा शुल्क 12.5 प्रतिशत है, जबकि सामाजिक कल्याण उपकर 10 प्रतिशत है। इसलिए, प्रभावी शुल्क 13.75 प्रतिशत है। परिष्कृत सोयाबीन और सूरजमुखी तेल के लिए, मूल सीमा शुल्क 17.5 प्रतिशत है और 10 प्रतिशत सामाजिक कल्याण उपकर को ध्यान में रखते हुए, प्रभावी शुल्क 19.25 प्रतिशत होता है।