Amanak Beej Ki Shikayat : बैतूल। बुआई का सीजन आते ही बीजों की गुणवत्ता को लेकर चर्चा शुरू हो जाती है। कृषि विभाग हमेशा अधिकृत विक्रेताओं या सरकारी संस्थाओं से बीज लेने की सलाह किसानों को देता है। लेकिन, मध्यप्रदेश के बैतूल जिले में खुद कृषि विभाग द्वारा मुहैया कराए गए बीजों के ही अंकुरित नहीं होने का सनसनीखेज मामला सामने आया है।
कृषि विभाग द्वारा मक्का का यह बीज आठनेर ब्लॉक में किसानों को अनुदान पर उपलब्ध कराया गया था। यह 10 दिन बाद भी जब अंकुरित नहीं हुआ तो किसान हैरान-परेशान हो गए। उन्होंने अमानक बीज का वितरण करने का आरोप लगाते हुए बीज सप्लाई करने वाली कंपनी पर धोखाधड़ी का मामला दर्ज करने की मांग की है। किसानों ने इस बारे में तहसीलदार और पुलिस को ज्ञापन सौंपा है।
कलेक्टर नरेंद्र कुमार सूर्यवंशी ने खरीफ सीजन में अमानक बीजों की बिक्री पर रोक लगाने के सख्त निर्देश दिए थे। इसके बाद कृषि विभाग ने जगह-जगह सैंपल लेने की कार्रवाई की है। दूसरी ओर जो बीज खुद कृषि विभाग ने ही अनुदान पर उपलब्ध कराए थे, उनमें ही अंकुरण न होने से विभाग की कार्यप्रणाली पर ही सवालिया निशान लग गए हैं।
इन गांवों में नहीं हुआ अंकुरण
दरअसल, आठनेर ब्लॉक के ग्राम कोपना, अक्कलवाड़ी, जावरा, धनोरा, धनोरी, गुनखेड़, मूसाखेड़ी, जूनावानी के किसानों ने इस संबंध में तहसीलदार को ज्ञापन सौंप कर शिकायत की है। उन्होंने बताया है कि उन्होंने कृषि विभाग से अनुदान पर उपलब्ध कराया पीजेएचएम-1 किस्म का मक्का का बीज खरीदा था। उसकी बुआई 13 जून के आसपास खेतों में कर दी थी। एक सप्ताह तक बीज के अंकुरित होने का इंतजार करते रहे।
किसान बोले- मुआवजा दो
इसके बाद भी जब बीज अंकुरित नहीं हुआ तो उन्होंने जमीन में खुदाई करके देखा। इस पर उन्होंने पाया कि बीज खराब हो चुका है। खेत में कहीं-कहीं ही वह अंकुरित हुआ है। इसके बाद आसपास के गांवों के किसानों ने भी मक्का के बीज के अंकुरित नहीं होने की जानकारी दी। इसके बाद उन्हें समझ आया कि बीज ही अमानक रहा होगा। उन्होंने कंपनी पर धोखाधड़ी का मामला दर्ज कर मुआवजा दिाए जाने की मांग की है।
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खेतों में पहुंची विभाग की टीम (Amanak Beej Ki Shikayat)
किसानों का आरोप है कि उन्होंने दूसरी फसलों की बुआई की है तो उसका अंकुरण हो गया है। ऐसे में स्पष्ट है कि मक्का का बीज ही अमानक था जो कि उन्हें कृषि विभाग ने थमा दिया। इधर शिकायत मिलने पर कृषि विभाग के उप संचालक आनंद बड़ोनिया ने प्रभावित गांवों में टीम भेजी थी। रविवार को कृषि विज्ञान केंद्र, बीज निगम और बीज प्रमाणीकरण संस्था के अधिकारी भी गांवों में जाने वाले थे।
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विभाग का यह है कहना (Amanak Beej Ki Shikayat)
इस बारे में विभागीय अधिकारियों का कहना था कि इसी बीज की आपूर्ति जिले के सभी 10 ब्लॉकों में की गई थी। अभी तक आठनेर के अलावा किसी और ब्लॉक से अंकुरण न होने की शिकायत नहीं मिली है। ऐसे में बीज अमानक होगा, इस बारे में अभी स्पष्ट रूप से कुछ नहीं कहा जा सकता। जांच के बाद जो भी स्थिति सामने आएगी, उसके अनुसार कार्रवाई की जाएगी।
इस समिति से हुई सप्लाई (Amanak Beej Ki Shikayat)
कृषि विभाग बैतूल से मिली जानकारी के अनुसार जिले के किसानों को अनुदान पर मक्का का बीज उपलब्ध कराने पांढुर्णा की श्री साईं कृपा बीज उत्पादक सहकारी समिति से 64 क्विंटल हाइब्रिड बीज मंगाया गया था। इसे सभी 10 ब्लॉकों में किसानों को 50 प्रतिशत अनुदान पर उपलब्ध कराया गया है। बीज का अंकुरण न होने पर विभाग ने जिन किसानों ने उक्त बीजों की बुआई नहीं की है, उनसे वापस मंगाया है ताकि उन्हें नुकसान न हो।
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