▪️ लोकेश वर्मा, मलकापुर (बैतूल)
MP Weather Update: मध्यप्रदेश के कई जिले इन दिनों कड़ाके की ठंड के आगोश में हैं। हाड़कांप ठंड के चलते रात में जहां अलाव तापना पड़ रहा है वहीं दिन में भी गर्म कपड़ों का सहारा लेना मजबूरी बन गया है। इधर मौसम वैज्ञानिकों ने अगले 12 दिसंबर से प्रदेश के कई जिलों में साइक्लोन मैंडूस के असर से बारिश की संभावना जताई है। इसके चलते पूरा प्रदेश ही शीतलहर की चपेट में आ सकता है।
पूरा मप्र शीतलहर की चपेट में
साइक्लोन मैंडूस इन दिनों बंगाल में एक्टिव है। तमिलनाडु में तबाही मचाने के बाद यह दक्षिण आंध्रप्रदेश की ओर बढ़ा है। शुक्रवार देर रात साइक्लोन मामल्लपुरम तट से टकराने के बाद कमजोर पड़ गया है। मैंडूस अगर दिशा बदलकर विशाखापट्टनम तट से टकराता है तो इसका सीधा असर मध्यप्रदेश में भी पड़ेगा। यहां तेज हवाओं के साथ भारी बारिश होगी। जिससे पूरा प्रदेश शीतलहर की चपेट में आ जाएगा।
इन जिलों में दिखेगा साइक्लोन मैंडूस का असर
मौसम वैज्ञानिकों का मानना है कि साइक्लोन मैंडूस के असर से मध्यप्रदेश में 12 दिसंबर से मौसम में बदलाव हो सकता है। अभी इसका सबसे ज्यादा असर इंदौर में दिखाई दे रहा है। तीन दिनों तक मैंडूस का सबसे ज्यादा असर इंदौर, खंडवा, इटारसी, बड़वानी, भोपाल, आगर-मालवा, सागर, रीवा, छतरपुर, छिंदवाड़ा, बैतूल, जबलपुर और शहडोल में रहेगा। हालांकि, इससे सबसे ज्यादा महाराष्ट्र, केरल और कर्नाटक में प्रभाव रहेगा।
पचमढ़ी के बाद सबसे ज्यादा ठंड बैतूल में
इधर प्रदेश के अधिकांश जिलों में इन दिनों ठंड का सीतम जारी है। पचमढ़ी के बाद सबसे अधिक ठंडा यदि कोई शहर रहा है तो वह बैतूल ही है। हालांकि कल की अपेक्षा न्यूनतम तापमान में थोड़ी वृद्धि हुई है, लेकिन अभी भी 7.6 डिग्री पर है। कल न्यूनतम तापमान जरूर 6.7 डिग्री पर पहुंच गया था। तापमान में थोड़ा उछाल आने के बाद बीती रात ठंड के तेवर कंपकंपाने वाले थे।
पचमढ़ी सबसे ठंडा, 5 पर तापमान
मौसम विभाग से उपलब्ध आंकड़ों पर नजर दौड़ाए तो प्रदेश में सबसे अधिक ठंड पचमढ़ी में रही। यहां का तापमान 5.0 डिग्री था। इसके बाद रायसेन में 7.4 डिग्री न्यूनतम पारा रिकॉर्ड किया गया। तीसरे नंबर बैतूल रहा। यहां का न्यूनतम 7.6 डिग्री रिकार्ड किया गया है। अधिकतम तापमान की बात करें तो दतिया में 24.2 डिग्री के बाद बैतूल में 25 डिग्री अधिकतम तापमान दर्ज किया है। ठंड के कारण लोगों की दिनचर्या काफी प्रभावित हो गई है।
फसलों पर जमी नजर आ रही बर्फ
शहर की अपेक्षा ग्रामीण क्षेत्रों में ठंड ज्यादा सितम ढा रही है। कम तापमान होने के कारण सुबह-सुबह फसलों पर बर्फ जमी नजर आती है। कड़ाके की ठंड के कारण बैतूल-आमला रोड पर रोज सुबह का नजारा बड़ा आकर्षक नजर आता है। कड़ाके की ठंड से आम लोग भले ही हैरान परेशान हो, लेकिन फसलों को होने वाले फायदे को देखते हुए किसान खुश है। हालांकि इस ठंड में उनके लिए खेतों में काम करना बड़ा मुश्किल हो गया है।
अलाव के सहारे चला रहे काम
नगर पालिका ने कुछ सार्वजनिक स्थलों पर अलाव जलाए हैं, लेकिन यह पर्याप्त साबित नहीं हो रहे हैं। कंपकंपाने वाली ठंड में लोग अपने साधन से अलाव जलाकर ठंड से बचने का इंतजाम कर रहे हैं। बस स्टैण्ड, रेलवे स्टेशन के बाहर और रैन बसेरा के करीब लोग अलाव जलाकर ठंड से बचते देखे जा रहे हैं। कुछ अन्य सार्वजनिक स्थलों पर भी रात के समय अलाव से ही ठंड से बचने के जतन किए जा रहे हैं। मौसम विभाग की माने तो एक पखवाड़े तक बैतूल में ठंड का टार्चर रह सकता है। आगामी दिनों में न्यूनतम तापमान लुढ़ककर 5 डिग्री तक पहुंचने से भी इंकार नहीं किया जा सकता।