बैतूल। जिले से गोवंश तस्करी लगातार जारी है। आज जब राष्ट्रीय हिंदू सेना के कार्यकर्ताओं ने इन्हें रोकने की कोशिश की तो गोवंश तस्करी करने वालों ने हाथापाई की। एक कार्यकर्ता का मोबाइल भी छीन लिया। हालांकि कार्यकर्ताओं ने उनके कब्जे से 12 गाय और 8 बैल मुक्त करा लिए हैं। इन्हें महाराष्ट्र के कत्लखाने ले जाया जा रहा था।
सेना के मध्य भारत प्रान्त मीडिया प्रमुख सुरज खड़िया ने बताया कि भैंसदेही तहसील के अंतर्गत आने वाले चोहटा ग्राम के जंगल के रास्ते बड़े पैमाने से गोवंश की तस्करी की सूचना संगठन के जिला सह संयोजक राजा चौहान को मिली थी। इस पर गोवंश को कत्लखाने जाने से बचाने की योजना बनाई गई और जंगल पहुंच कर गोवंश को कत्लखाने जाने से बचाया गया।
संगठन के वरिष्ठ सहयोगी कमल आर्य ने बताया कि तस्करी की सूचना मिलने पर राष्ट्रीय हिन्दू सेना के मध्य भारत प्रान्त अध्यक्ष पवन मालवीय को सूचित कर गोवंश तस्करी करने वालों की घेराबंदी कर 20 गोवंश को आजाद करवाने में सफलता हासिल की है। गोवंश में 12 गौ माता एवं 8 बैल हैं।
मध्य भारत प्रान्त सह मन्त्री शुभम इंगले ने बताया कि 50 गोवंश कत्लखाने ले जाने की मिली थी। सूचना पर मौके पर पहुंचते ही गोवंश तस्करी करने वालों ने आधे गोवंश भगा ले गए। भैंसदेही एसडीओपी और झल्लार पुलिस को सूचना दे दी गई है।
जिला संगठन मंत्री गंगाधर रफ्तार ने बताया कि गोवंश पकड़ने गए कार्यकताओं के साथ गोवंश तस्करी करने वाले महाराष्ट्र के करजगाव निवासी पांच लोगों ने मारपीट की है। यही नहीं संगठन के वरिष्ठ सहयोगी कमल आर्य का मोबाइल भी छीन कर ले भागे। गोवंश को मुक्त कराने में कमल आर्य, आनंद परते, निलेश मसुरे, सुनिल मसुरे, सुनिल विश्वकर्मा, श्यामलाल कासदेकर, संजय कसदेकर, बबलू भावश्कर की मुख्य भूमिका रही।