• आकाश शुक्ला •
हाल ही में हमने देखा कि महामारी या किसी घटना-दुर्घटना में घर के महत्वपूर्ण कमाने वाले सदस्य की आकस्मिक मृत्यु हो जाने पर आर्थिक परेशानियों का सामना परिवार वालों को करना पड़ता है। इनमें से कई तरह की आर्थिक परेशानियां तो केवल जानकारी के अभाव में होती है।
परिवार के सदस्यों को यह पता ही नहीं होता है कि उक्त कमाऊ सदस्य ने कौन-कौन से बीमा पॉलिसी (insurance policy) ले रखी थी और कहां-कहां पैसा निवेश (invest) कर रखा है। जाहिर है कि जानकारी नही होने से वे यह पैसा प्राप्त भी नहीं कर पाते।
अत: प्रत्येक परिवार के कमाने वाले सदस्य की यह जिम्मेदारी है कि वह अपने से संबंधित समस्त बैंक खातों (bank accounts), जीवन बीमा की पॉलिसी (life insurance policy), दुर्घटना बीमा (Accident Insurance), टर्म इंश्योरेंस (term insurance), मेडिक्लेम (mediclaim), बैंक के लॉकर (bank lockers), म्यूचुवल फंड (mutual fund) और शेयरों (shares) की जानकारी, समस्त लिए गए ऋण (loan), ऋण रक्षा पॉलिसी (debt protection policy), ऋण लेने के लिए बंधक की गई संपत्ति (mortgaged property) की जानकारी लिखकर अपने घर में रखें।
इसके साथ ही अपने परिवार के सदस्यों को आवश्यक रूप से इस बारे में जानकारी प्रदान करें। जिससे कि आकस्मिक मृत्यु की स्थिति में परिवार वालों को जानकारी के अभाव में परेशान न होना पड़े। साथ ही यह जानकारी भी घरवालों को प्रदान करें कि आकस्मिक मृत्यु की स्थिति में राशि प्राप्ति हेतु दावा किस कार्यालय में करना है।
मृत्यु होने की स्थिति में यदि मृतक ने जीवन बीमा पॉलिसी ले रखी है और उसकी जानकारी परिवार के सदस्यों को नहीं है और वे निर्धारित प्रारूप में क्लेम फॉर्म जमा करके जीवन बीमा कंपनी में दावा नहीं करते हैं तो जीवन बीमा पॉलिसी लेना व्यर्थ हो जावेगा।
ऐसे में बीमा लेने की मंशा पूरी नहीं हो सकेगी। साथ ही जिनके लिए बीमा लिया गया वे दावा राशि प्राप्त नहीं कर पाएंगे। इसीलिए समस्त जीवन बीमा पॉलिसियों की जानकारी आवश्यक रूप से अपने परिवार के सदस्यों को दें।
बैंक, जीवन बीमा पॉलिसी एवं अन्य निवेशों में नॉमिनेशन (Nomination) जरूर करें। जिससे कि दावा राशि प्राप्त करने में आसानी हो सके। नॉमिनी प्राप्त राशि का केवल ट्रस्टी होता है। वह उत्तराधिकारियों की ओर से उस राशि को प्राप्त कर सकता है।
समस्त उत्तराधिकारी ट्रस्टी से अपने उत्तराधिकार की राशि प्राप्त करने के अधिकारी रहते हैं। विवाद की स्थिति में नॉमिनी से न्यायालय के माध्यम से मृतक के खाते की राशि जो नामिनी ने प्राप्त कर ली है, नमिनी से वसूल करने के अधिकारी रहते हैं।
बीमा पॉलिसी लेते समय घर के कमाने वाले सदस्य के नाम से बीमा पॉलिसी लेने में प्राथमिकता रखे। जिससे कि कमाने वाले सदस्य की आकस्मिक मृत्यु की स्थिति में परिवार के सदस्यों को आर्थिक मदद मिल सके।
अपनी समस्त संपत्तियों से संबंधित दस्तावेज (property related documents) एक स्थान पर रखें। यदि किसी के साथ संयुक्त रूप से कोई संपत्ति क्रय की है और उसके दस्तावेज कहीं और हैं तो उसकी भी जानकारी परिवार वालों को दें।
यदि किसी संपत्ति के दस्तावेज किसी बैंक के पक्ष में बंधक हैं, उस का संपूर्ण विवरण भी परिवार के सदस्यों को दें और उन दस्तावेजों की सत्यापित प्रति घर में रखें।
अपने समस्त निवेशों की जानकारी एवं मृत्यु की स्थिति में निवेशित रकम प्राप्त करने संबंधी प्रक्रिया घर के सदस्यों को आवश्यक रूप से दे। यह आपकी अनुपस्थिति में आपके परिवार को आर्थिक रूप से सुरक्षित करेगा।
(लेखक बैतूल के वरिष्ठ अधिवक्ता और आर्थिक मामलों के जानकार हैं)