UPSC PRE CUT OFF : यूपीएससी द्वारा सिविल सर्विसेज प्रीलिम्स परीक्षा आगामी 5 जून को आयोजित की जा रही है। इस परीक्षा को देश की सबसे प्रतिष्ठित के साथ ही कठिन भी माना जाता है। हर साल आला अफसर बनने की हसरत लिए लाखों युवा इस परीक्षा में शामिल होते हैं। इनमें से कुछ सैकड़ा ही ऐसे होते हैं जो प्रीलिम्स के बाद मुख्य परीक्षा में भी सफल होकर साक्षात्कार तक पहुंच पाते हैं और आखिरकार अंतिम रूप से चयनित हो पाते हैं।
Civil Services Prelims Exam : यह परीक्षा कठिन जरूर है, लेकिन ऐसा नहीं कि इसमें सफलता हासिल की ही नहीं जा सकती। हर साल जो युवा परीक्षा उत्तीर्ण करने में सफल होते हैं वे भी आप जैसे ही होते हैं। बस जरूरत इस बात की है कि बेहतर रणनीति, एकाग्रता और सही दिशा में इसकी तैयारी की जाएं। अब बात करें यूपीएससी सिविल सर्विसेज प्री परीक्षा के कट ऑफ की। परीक्षा में सफलता के लिए इसका कट ऑफ भी बेहद मायने रखता है। कट ऑफ मतलब पिछली परीक्षाओं में जो आखरी उम्मीदवार चयनित किए गए उन्होंने कितने अंक हासिल किए।
UPSC CUT OFF : बीते 5 सालों के आंकड़ों पर यदि नजर डालें तो यही वस्तुस्थिति सामने आती है कि इस परीक्षा में शामिल होने वाले अभ्यर्थियों की संख्या भले ही बढ़ रही हैं, लेकिन कट ऑफ लगातार घट रहा है। इन पांच सालों में कट ऑफ में 20 % की गिरावट आई है। इसका मतलब बिलकुल नहीं है कि परीक्षा में प्रतिस्पर्धा कम हुई है। बल्कि जानकारों का मानना है कि प्रतिस्पर्धा निश्चित रूप से बढ़ी है। इसलिए कुशल रणनीति के साथ तैयारी और जरूरी हो जाती है। अब हम पिछले 5 सालों के विभिन्न कैटेगिरी में आए कट ऑफ का अवलोकन करते हैं।
किस वर्ष कितना रहा कट ऑफ
• वर्ष 2016 : इस वर्ष जनरल कैटेगिरी के लिए कट ऑफ 116 था। जो कि सबसे ज्यादा था। ओबीसी के लिए यह 110.66, एससी के लिए 99.34 और एसटी के लिए 96 था।
• वर्ष 2017 : इस वर्ष जनरल कैटेगिरी के लिए कट ऑफ 105.34 था। जो कि सबसे ज्यादा था। ओबीसी के लिए यह 102.66, एससी के लिए 88.66 और एसटी के लिए 88.66 था।
• वर्ष 2018 : इस वर्ष जनरल कैटेगिरी के लिए कट ऑफ 98 था। जो कि सबसे ज्यादा था। ओबीसी के लिए यह 96.66, एससी के लिए 84 और एसटी के लिए 83.34 था।
• वर्ष 2019 : इस वर्ष जनरल कैटेगिरी के लिए कट ऑफ 98 था। जो कि सबसे ज्यादा था। ओबीसी के लिए यह 95.34, एससी के लिए 82 और एसटी के लिए 77.34 था।
• वर्ष 2020 : इस वर्ष जनरल कैटेगिरी के लिए कट ऑफ 92.51 था। जो कि सबसे ज्यादा था। ओबीसी के लिए यह 89.12, एससी के लिए 74.84 और एसटी के लिए 68.71 था।