दामजीपुरा के दो आरोपी एक गांव से बकरी चुराने का प्रयास कर रहे थे। वे बकरी तो नहीं चुरा पाए पर एक आरोपी रंगे हाथ धरा गया। मामले में रिपोर्ट हुई और जांच पड़ताल के बाद प्रकरण न्यायालय पहुंचा जहां दोनों आरोपियों को सजा सुनाई गई है। न्यायालय न्यायिक मजिस्ट्रेट प्रथम श्रेणी भैंसदेही ने आरोपी रफीक पिता खुदाबक्श और हबीब पिता यूसुफ दोनों निवासी दामजीपुरा थाना मोहदा को धारा 380 में दोषी पाते हुए 1-1 वर्ष के कठोर कारावास एवं 5-5 सौ रुपये के अर्थदंड से दंडित किया है। प्रकरण में शासन की ओर से पैरवी सहायक जिला अभियोजन अधिकारी प्रसून कुमार द्विवेदी द्वारा की गई।
सहायक जिला अभियोजन अधिकारी श्री द्विवेदी ने प्रकरण की जानकारी देते हुए बताया कि फरियादी फगनू ने 19 अगस्त 2014 को थाना मोहदा में इस आशय की रिपोर्ट लेख कराई कि सुबह करीब 5 बजे मैं सो रहा था तभी मुझे मेरी बकरी की चिल्लाने की आवाज आई। मैंने उठकर देखा तो एक व्यक्ति मेरी बकरी को मोटर साइकिल पर बीच में पकड़ कर रख रहा था। मैं दौड़कर मोटर साइकिल के पास पहुंचा व उसकी चाबी निकाल ली, तब दूसरा व्यक्ति मुझसे चाबी छीनने लगा तो मैं चिल्लाया।
यह भी पढ़ें… सारणी पावर प्लांट में लूट के आरोपियों को 4-4 साल का कठोर कारावास
इस पर गांव में रामायण करने वाले परसराम, भजनलाल, श्यामलाल, जुगराम आ गए तो एक व्यक्ति भाग गया। दूसरे व्यक्ति को बकरी के साथ पकड़ लिया गया। हम लोगों ने उसका नाम पता पूछा तो उसने अपना नाम रफीक और भाग जाने वाले का नाम हबीब निवासी दामजीपुरा बताया था।
फरियादी की रिपोर्ट पर से आरोपियों के विरुद्ध अपराध पंजीबद्ध कर विवेचना की गई। विवेचना के उपरांत अभियोग पत्र न्यायालय के समक्ष प्रस्तुत किया गया। अभियोजन ने अपना मामला संदेह से परे प्रमाणित किया। इस पर न्यायालय द्वारा आरोपी रफीक एवं हबीब को धारा 380 में 1-1 वर्ष के कठोर कारावास एवं 500-500 रुपये के जुर्माने से दंडित किया गया।
यह भी पढ़ें… बड़ी खबर: तीन साल की मासूम का अपहरण कर हत्या करने वाले हैवान को आजीवन कारावास