Betul News : बैतूल जिले के चांदबेहड़ा गांव का सरकारी प्राथमिक स्कूल शाम होते ही असामाजिक तत्वों का अड्डा बन जाता है। यहां आवारा तत्व पहुंच कर शराबखोरी करते हैं। इसके चलते बच्चों को स्कूल आकर पहले शराब की बोतलें जमा कर फेंकना पड़ता है। इसके बाद उनकी पढ़ाई शुरू होती है। इन कांच की बोतलों के कारण कई बच्चे चोटिल तक हो चुके हैं।
इस संबंध में ग्रामवासियों ने बताया कि बाजार चौक में गांव का शासकीय प्राथमिक विद्यालय है। यह स्कूल परिसर शाम होते ही आवारा तत्वों के अड्डे के रूप में तब्दील हो जाता है। कई लोग यहां रात के अंधेरे में बैठकर शराबखोरी करते हैं। इसके बाद शराब की बोतलें परिसर में ही फेंक जाते हैं। कुछ तो नशा होने के बाद यह बोतलें फोड़ तक देते हैं।
इसके चलते बच्चे जब स्कूल पहुंचते हैं तो उन्हें परिसर में शराब की खाली बोतलें बिखरी हुई मिलती हैं। ऐसे में बच्चे पहले इन बोतलों को एकत्रित कर फेंकते हैं और फिर पढ़ाई करते हैं। परिसर में पड़ी फूटी हुई बोतलों के कांच कई बच्चों के पांव में भी चुभ चुके हैं। इससे आए दिन बच्चे चोटिल भी होते हैं। इससे बच्चों के साथ ही स्कूल का स्टाफ भी परेशान हैं। नीचे देखें वीडियो…
स्कूल परिसर में शराब की बोतलें… pic.twitter.com/byQ0kCBPnE
— Betul Update (@BetulUpdate) November 18, 2022
ग्रामवासियों के अनुसार इस संबंध में कई बार वे ग्राम पंचायत में सूचना दे चुके हैं। साथ ही कई बार पुलिस को भी सूचना दी जा चुकी है। इसके बाद भी आज तक कोई ठोस कार्यवाही नहीं होने के चलते यह सिलसिला थम नहीं रहा है। शराब की बोतलें पड़ी होने से बच्चों पर बुरा असर भी पड़ रहा है। ग्रामीणों ने स्कूल परिसर में बैठकर शराबखोरी करने वालों पर सख्त कार्यवाही की मांग की है।
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